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Shramik

 

_श्रमिक



श्रमिक मैं श्रमिक
परिश्रम से मेरी पहचान
मै ना देखूं दिन मैं ना देखूं रात
मेहनत ही मेरा विहार
दो टूक पाने की प्रतिक्षा
धन कमाने की इक्षा
मै नही चाहता करोड़पति बनू
जो हैं बस संतुष्ट रहूं
बीबी बच्चों का भर्तार
हूं
समाज का आधार हूं
यहीं हैं मेरा जीवन निर्वाह
इसी से चलता मेरा परिवार
मेरी जिन्दगी में बहुत कठिनाई है
फिर भी यारों मेहनत की कमाई हैं

Amrita tripathi

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Amrita Tripathi

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